कोविड-19 : स्वास्थ्यकर्मियों पर हमला करने वालों को दंडित करने के लिए अध्यादेश को राष्ट्रपति ने मंजूरी दी
नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कोविड-19 महामारी से लड़ रहे स्वास्थ्यकर्मियों पर हिंसा के कृत्यों को संज्ञेय और गैर-जमानती अपराध बनाने वाले एक अध्यादेश को बुधवार को अपनी मंजूरी दी। महामारी रोग अधिनियम, 1897 में संशोधन करने वाला इस अध्यादेश में स्वास्थ्यकर्मियों को पहुंचे जख्म तथा संपत्ति को नुकसान पहुंचाने या उसे नष्ट करने के लिए मुआवजे की व्यवस्था की गयी है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘ राष्ट्रपति ने इस अध्यादेश की उद्घोषणा के लिए अपनी मंजूरी दे दी।’’
अपने और परिवारजन के लिए गंभीर जोखिम उठाते हुए, कोविड-19 के खिलाफ युद्ध में देश की सेवा करने वाले सभी देशवासियों के लिए, मैं विशेष आभार और सम्मान व्यक्त करता हूँ।
— President of India (@rashtrapatibhvn) April 20, 2020
अध्यादेश के अनुसार ऐसी हिंसक कृत्य करने या उसमें सहयोग करने पर तीन महीने से पांच साल तक कैद और 50 हजार से लेकर दो लाख रूपये तक के जुर्माने काप्रावधान किया गया है। गंभीर चोट/जख्म पहुंचाने पर दोषी को छह माह से लेकर सात साल तक कैद की सजा होगी और एक लाख से लेकर पांच लाख रूपये तक उस पर जुर्माना लगेगा। इसके अलावा अपराधी को पीड़ित को मुआवजाभरना होगा तथा उसे संपत्ति को पहुंचे नुकसान के लिए उसके बाजार मूल्य का दोगुणा का भुगतान करना होगा। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने महामारी के दौरान स्वास्थ्य कर्मियों तथा संपत्ति की रक्षा के लिए महामारी रोग (संशोधन) अध्यादेश 2020 की उद्घोषणा को मंजूरी दी।