मोदी सरकार की बड़ी जीत : राज्यसभा के बाद लोकसभा में भी 370 वोट से धरा हुई धारा 370, जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पास
नई दिल्ली। संसद ने जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा संबंधी ARTICLE 370 की अधिकतर धाराओं को खत्म करने के संकल्प को मंजूरी दी।। राज्यसभा के बाद अब लोकसभा से भी जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पर मंजूरी मिल गई है। मंगलवार को लोकसभा ने जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल को पास कर दिया। जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पर लोकसभा में वोटिंग के दौरान पक्ष में जहां 370 वोट पड़े वहीं, विपक्ष में 70 वोट पड़े। हालांकि, इस दौरान समाजवादी पार्टी ने वोटिंग से खुद को अलग रखा और वॉक आउट किया। बता दें कि सोमवार को राज्यसभा ने इस बिल को पास कर दिया था।
PM Narendra Modi and HM Amit Shah Achieve the Impossible https://t.co/u6mznehB76
— Arun Jaitley (@arunjaitley) August 6, 2019
इस बिल के पास होने और राष्ट्रपति की मुहर लगने के बाद अब यह कानून का शक्ल अख्तियार करेगा, जिसके बाद जम्मू-कश्मीर दो भागों में बंट जाएगा। जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल के मुताबिक, जम्मू-कश्मीर अब केंद्र शासित प्रदेश होगा और लद्दाख भी इससे अलग होकर केंद्र शासित प्रदेश बन जाएगा। हालांकि, कश्मीर के पास अपना विधानसभा होगा, मगर लद्दाख के पास नहीं होगा। इस बिल को पास करवाने में के दौरान संसद में सरकार और विपक्ष में घमासान देखने को मिली।
ऐतिहासिक क्षण। एकता और अखंडता के लिए सारा देश एकजुट। जय हिंद!
हमारे संसदीय लोकतंत्र के लिए यह एक गौरव का क्षण है, जहां जम्मू-कश्मीर से जुड़े ऐतिहासिक बिल भारी समर्थन से पारित किए गए हैं।
— Narendra Modi (@narendramodi) August 6, 2019
जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पर सबसे चौंकाने वाला फैसला ज्योतिरादित्य सिंधिया का आया। बिल पर कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि वह भारत में जम्मू कश्मीर और लद्दाख के पूर्ण विलय के लिए उठाए गए कदम का समर्थन करते हैं। बेहतर होता अगर संवैधानिक प्रक्रिया का पालन किया गया होता। यह देश के हित में है और मैं इसका समर्थन करता हूं।
आज का यह दिन सभी भारतवासियों के लिए एक गौरवपूर्ण दिन है।
प्रधानमंत्री श्री @narendramodi जी के निर्णायक नेतृत्व से ही आज भारतवर्ष को 70 सालों से लंबित न्याय मिला है।
यह निर्णय भारत की अखंडता और कश्मीर से कन्याकुमारी तक जन-जन के हितों के प्रति मोदी जी के समर्पण को दर्शाता है।
— Amit Shah (@AmitShah) August 6, 2019
स्थिति सामान्य होने पर जम्मू-कश्मीर को देंगे पूर्ण राज्य का दर्जा:
लोकसभा में अमित शाह ने कहा कि जहां तक केंद्र शासित राज्य का सवाल है तो मैं देश और मुख्य रूप से घाटी के लोगों को विश्वास दिलाता हूं कि स्थिति सामान्य होते ही पूर्ण राज्य का दर्जा देने में हमें कोई संकोच नहीं होगा। अमित शाह ने यह भी कहा कि लोकसभा में अमित शाह ने कहा कि ARTICLE 370 कश्मीर को भारत से जोड़ती नहीं, बल्कि तोड़ती है। ARTICLE 370 ने यह शंका पैदा किया पूरी दुनिया में कि कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है या नहीं। कोई क्यों नहीं कहता कि पंजाब भारत का अभिन्न अंग है, सिर्फ कश्मीर को लेकर ही क्यों कहा जाता? यह 370 की वजह से ही है। हालांकि, हमारे संविधान में स्पष्ट रूप से वर्णित है।
कुछ लोगों ने कहा कि हमने Pok दे दिया।
Pok भारतीय जनता पार्टी की सरकार और देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी कभी दे ही नहीं सकते।
आज भी Pok की 24 सीटें हमारा हिस्सा रहने वाली हैं।
Pok पर हमारा दावा उतना ही मजबूत है जितना पहले था: श्री अमित शाह pic.twitter.com/kSq0uowEkm
— BJP (@BJP4India) August 6, 2019
नेहरू ने सेना को पूरी छूट दी होती तो POK भारत का हिस्सा होता:
लोकसभा में बिल पर विपक्ष का जवाब देते हुए अमित शाह ने कांग्रेस पर हमला बोला। अमित शाह ने लोकसभा में कहा कि पंडित नेहरू ने सेना को पूरी छूट दी होती तो पीओके भारत का हिस्सा होता। आगे उन्होंने कहा कि पूर्वोत्तर, महाराष्ट्र और कर्नाटक समेत कुछ राज्यों के सदस्यों को मैं आश्वस्त करता हूं कि नरेंद्र मोदी सरकार की ARTICLE 371को हटाने की कोई आकांक्षा नहीं। अमित शाह ने कहा कि जब भारत-पाकिस्तान ने UN के प्रस्ताव को स्वीकार किया तब किसी भी देश की सेना को सीमाओं के उल्लंघन का अधिकार नहीं था। लेकिन 1965 में पाकिस्तान की ओर से सीमा का उल्लंघन करने पर यह प्रस्ताव खारिज हो गया था।
17वीं लोक सभा के पहले सत्र का आज अवसान हो रहा है। 1952 से अब तक के इतिहास में इस सत्र में उल्लेखनीय कामकाज हुआः ओम बिरला, लोक सभा अध्यक्ष
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राज्यसभा से लग चुकी है मुहर:
गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर से ARTICLE 370 के अधिकतर प्रावधान समाप्त करने, जम्मू कश्मीर को विधायिका वाला केंद्र शासित क्षेत्र और लद्दाख को बिना विधायिका वाला केंद्र शासित क्षेत्र बनाने संबंधी सरकार के दो साहसिक एवं जोखिम भरे संकल्पों एवं दो संबंधित विधेयकों को सोमवार को राज्यसभा की मंजूरी मिल गई थी। जम्मू कश्मीर पुनर्गठन विधेयक को पारित करने के लिए उच्च सदन में हुए मत विभाजन में संबंधित प्रस्ताव 61 के मुकाबले 125 मतों से मंजूरी दे दी गई थी।
#Loksabha votes for The J&K Reorganisation Bill, 2019 pic.twitter.com/3ypoCRetv7
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अमित शाह और अधीर रंजन चौधरी में घमासान:
बता दें कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को लोकसभा में जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पेश कर दिया। इसके बाद सदन में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि मुझे नहीं लगता कि आप पीओके के बारे में सोच रहे हैं, आपने सभी नियमों का उल्लंघन किया और एक राज्य को रातोंरात केंद्र शासित प्रदेश में बदल दिया। लोकसभा में अमित शाह और अधीर रंजन के बीच तीखी तकरार देखने को मिली। अमित शाह ने कहा कि कश्मीर और पीओके के लिए जान भी दे देंगे। वहीं, लोकसभा में नंबर को देखते हुए ऐसा माना जा रहा है कि वहां भी यह बिल आसानी से पास हो जाएगा। लोकसभा में मंगलवार को सरकार की ओर से जम्मू-कश्मीर से संबंधित संकल्प और विधेयक लाए जाने के मद्देनजर कांग्रेस ने सदन के अपने सभी सदस्यों को व्हिप जारी कर उपस्थित रहने को कहा था।
Difference Between Congress and BJP
Congress: Kashmir Is Not India's Internal Matter
BJP: Jaan De Denge Hum PoK Ke Liye pic.twitter.com/JDUGzvCcZQ
— BJP (@BJP4India) August 6, 2019
बीजू जनता दल ने किया समर्थन:
मंगलवार को चर्चा में भाग ले रहे बीजू जनता दल के पिनाकी मिश्रा ने विधेयक और संकल्प समर्थन करते हुए कहा कि यह विरासत का मुद्दा है और इस सरकार ने इसे दुरुस्त करने की हिम्मत की है। उन्होंने यह भी कहा कि आगे इस विधेयक को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी जा सकती है, इसमें किसी को संदेह नहीं है। मिश्रा ने कहा कि यह कदम उठाते हुए हमें कश्मीर के लोगों को यह भरोसा दिलाना होगा कि उनके साथ हमारा दिल का रिश्ता है। उन्होंने ओडिशा के पूर्व मुख्यमंत्री बीजू पटनायक के लिए भारत रत्न की मांग की।
इस सत्र में एक सत्र में अब तक सबसे ज्यादा, 36 विधेयक पारित किए गए, एक हजार से ज्यादा लोक हित के मुद्दे शून्यकाल में उठाए गएः ओम बिरला, स्पीकर
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370 पर मोदी सरकार का फैसला ऐतिहासिक:
चर्चा में हस्तक्षेप करते हुए केंद्रीय मंत्री एवं शिवसेना सांसद अरविंद सावंत ने ARTICLE 370 के तहत जम्मू कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के सरकार के फैसले को ”ऐतिहासिक करार दिया और पूरे सदन से एक स्वर में इसका समर्थन करने की अपील की ताकि राज्य के लोगों का विकास सुनिश्चित हो और प्रदेश मुख्यधारा से सही अर्थों में जुड़ सके। उन्होंने कहा कि ARTICLE 370 के कारण गलत लोग आगे आए लेकिन वहां के लोगों को कोई फायदा नहीं मिला । कश्मीरी पंडितों को प्रदेश छोड़ कर भागना पड़ा ।
देश के उपराष्ट्रपति और राज्यसभा के चेयरमैन @MVenkaiahNaidu गारू और लोकसभा के स्पीकर @ombirlakota जी ने अपने-अपने सदन में जिस प्रकार से कार्यवाही का प्रभावी संचालन किया, उसके लिए मैं उन्हें पूरे देश की ओर से बधाई देता हूं।
— Narendra Modi (@narendramodi) August 6, 2019
नरेंद्र मोदी सरकार ऐतिहासिक गलती को सुधार रही:
चर्चा में हस्तक्षेप करते हुए संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि यह मुद्दा हमसे भावनात्मक रूप से जुड़ा हुआ है और यह हमारे लिए मातृभूमि का मुद्दा है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पाकिस्तान की आवाज में बात कर रही है। पाकिस्तान ने ARTICLE 370 को खत्म करने को काला दिन बताया है और कांग्रेस ने भी यही बयान दिया है। जोशी ने कहा कि पंडित जवाहरलाल नेहरू ने खुद कहा था कि ARTICLE 370 घिसते घिसते एक दिन घिस जाएगा। दुर्भाग्य की बात है कि कांग्रेस आज इस कदम का विरोध कर रही है।उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार ऐतिहासिक गलती को सुधार रही है।