वित्त मंत्री ओ.पी.चौधरी सामूहिक विवाह में हुए शामिल
रायपुर /
मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजनान्तर्गत आज रायगढ़ जिले में 291 जोड़ों का सामूहिक विवाह संपन्न हुआ। इस मौके पर छत्तीसगढ़ शासन के वित्त मंत्री ओ.पी.चौधरी जिला मुख्यालय के शहीद कर्नल विप्लव त्रिपाटी स्टेडियम में आयोजित 84 जोड़ो के विवाह कार्यक्रम में शामिल हुए एवं नवदपत्तियों को अपना आशीर्वाद प्रदान किए।
सामूहिक विवाह में शामिल होने पहुंचे प्रदेश के वित्त मंत्री श्री ओ.पी.चौधरी ने नव विवाहित जोड़ों को पुष्प वर्षा कर वैवाहिक जीवन की शुभकामनाएं देते हुए रायगढ़ में विवाहित सभी 84 जोड़ों को अपनी ओर से 5-5 हजार रुपये की स्वेच्छा अनुदान राशि देने की भी घोषणा की। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि आर्थिक रूप से कमजोर बेटियों की शादी कराने के साथ ही दहेज प्रथा जैसे सामाजिक बुराई को दूर करने के उद्देश्य से राज्य सरकार द्वारा मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना संचालित की जा रही है। जिसके तहत प्रदेश में लगातार सामूहिक विवाह का आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने आज विवाह में शामिल सभी नवदंपत्तियों को बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि उन्होंने सामूहिक विवाह में आगे आकर समाज को एक अनुकरणीय संदेश दिया है। उन्होंने कहा कि आज विवाह बंधन में बंधे सभी बहनों को महतारी वंदन योजना का लाभ लेने का आग्रह किया, जिससे उन्हें सालाना 12 हजार रुपये की राशि प्राप्त होगी। उन्होंने बताया कि आज विवाह में शामिल सभी नवजोड़ों को राज्य शासन की ओर से 21-21 हजार रूपये की सहायता राशि दी जा रही है। इस मौके पर उन्होंने नवदंपत्तियों को सहायता राशि का चेक भी वितरित किया। इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष निराकार पटेल, राधेश्याम राठिया, विजय अग्रवाल, उमेश अग्रवाल,पूनम दिबेश सोलंकी, सुभाष पाण्डेय, कौशलेष मिश्रा, श्रीकांत सोमावार, रत्थू गुप्ता, सुरेश गोयल, कलेक्टर कार्तिकेया गोयल, पुलिस अधीक्षक दिव्यांग पटेल, सीईओ जिला पंचायत जितेन्द्र यादव, नगर पुलिस अधीक्षक आकाश शुक्ला, डीपीओ एल.आर.कच्छप उपस्थित रहे।
जिले के खरसिया, घरघोड़ा एवं तमनार बंजारी मंदिर में 28-28 जोड़े का विवाह संपन्न हुआ। इसी तरह धरमजयगढ़ में 56 जोड़े तथा लैलूंगा में 67 जोड़े वैवाहिक बंधन में बंधे। रायगढ़ में विवाहित जोड़ों को दिव्य शक्ति संस्था रायगढ़ एवं जय मां दुर्गा सेवा अमृत वाणी सेवा समिति द्वारा भी उपहार दिया गया। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री कन्या विवाह का मुख्य उद्देश्य गरीब परिवारों को कन्या के विवाह के संदर्भ में होने वाली आर्थिक कठिनाईयों का निवारण, विवाह के अवसर पर होने वाले फिजूलखर्ची को रोकना एवं सादगीपूर्ण विवाहों को बढ़ावा देने, सामूहिक विवाहों के आयोजन के माध्यम से मनोबल/आत्मसम्मान में वृद्धि एवं उनकी सामाजिक स्थिति में सुधार, सामूहिक विवाहों का प्रोत्साहन तथा विवाहों में दहेज के लेन-देन की रोकथाम करना है। छत्तीसगढ़ शासन महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा कन्या विवाह योजना का संचालन किया जाता है। शासन द्वारा कन्या विवाह में सम्मिलित होने वाले प्रत्येक जोड़ो को 50 हजार रुपये का अनुदान स्वीकृत किया जाता है, जिसमें से 21 हजार रुपये कन्या को वित्तीय सहायता के रूप में बैंक खाते के माध्यम से राशि का भुगतान किया जाता है। इसी तरह 15 हजार रूपये का उपहार सामग्री, 6 हजार रुपये का वर-वधु का श्रृंगार एवं वस्त्र इत्यादि तथा 8 हजार रूपये विवाह के आयोजन पर व्यय किया जाता है। इस तरह प्रत्येक जोड़ो को 50 हजार रुपये की राशि स्वीकृत की जाती है।