कश्मीर मामले पर गृह मंत्रालय में अमित शाह-अजीत डोभाल की बैठक, हालात से कराया अवगत, हालात पर पैनी नजर
श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर में आर्टिकल 370 हटाए जाने करीब 14 दिन बाद जम्मू-कश्मीर की मौजूदा स्थिति को लेकर गृह मंत्री अमित शाह और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल की बैठक हुई। घाटी से लौटे अजीत डोभाल ने ताजा स्थिति की जानकारी दी।
अजीत डोभाल काफी दिनों तक जम्मू-कश्मीर में ही थे और वहां की स्थिति पर करीब से नजर बनाए हुए थे। अजीत डोभाल दो दिन पहले से ही घाटी से दिल्ली लौटे हैं। इस बैठक में अमित शाह, अजीत डोभाल के अलावा गृह सचिव और अन्य बड़े अधिकारी शामिल रहे। गृह मंत्रालय में ये बैठक करीब आधे घंटे तक चली।
कश्मीर दौरे के दौरान अजीत डोभाल के कई वीडियो आए थे, जिसमें वह स्थानीय लोगों से बातचीत करते नजर आए। आज करीब 14 दिन बाद घाटी में स्कूल-कॉलेज खुले हैं। कड़ी सुरक्षा के बीच स्कूल-कॉलेज खुले हैं, हालांकि काफी कम संख्या में बच्चे स्कूल पहुंचे थे।
अधिकारियों ने प्राथमिक स्तर तक स्कूल खोलने और सोमवार से सभी सरकारी कार्यालयों में काम शुरू करने की योजना बनाई थी। सीनियर क्लासेज के स्कूल कुछ वक्त बाद खोले जाएंगे। जितने दिनों तक स्कूल बंद रहे हैं, उनके बदले इस महीने बाद में पूरक कक्षाएं लगाई जाएंगी। हालात सामान्य होते ही अन्य जिलों के स्कूल भी खोल दिए जाएंगे।
जम्मू-कश्मीर के प्रधान सचिव रोहित कंसल ने रविवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि अभी सिर्फ श्रीनगर के प्राइमरी स्कूलों को ही दोबारा खोला जा रहा है। जिन क्षेत्रों में विद्यालय खोले जाएंगे उनमें लासजान, सांगरी, पंथचौक, नौगाम, राजबाग, जवाहर नगर, गगरीबाल, धारा, थीड, बाटमालू और शाल्टेंग शामिल हैं।
सामान्य होते ही धीरे-धीरे अन्य क्षेत्रों के स्कूलों में भी पढ़ाई शुरू हो जाएगी। कंसल ने बताया कि कश्मीर घाटी में पाबंदियों में दी गई ढील जारी है। स्थानीय अधिकारी हालातों का जायजा ले रहे हैं। जल्द ही कुछ और पाबंदियां हटाई जा सकती हैं।
रोहित कंसल ने बताया कि श्रीनगर के उपायुक्त शाहिद इकबाल चौधरी ने शनिवार को शिक्षा विभाग के अधिकारियों और विद्यालयों के प्रमुखों की बैठक बुलाई थी। इस बैठक में जिले में विद्यालयों को खोलने को लेकर गहन चर्चा हुई। विद्यार्थियों की सुरक्षा जिला प्रशासन की मुख्य चिंता है और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सभी जरूरी इंतजाम किए गए हैं।
इससे पहले घाटी में रविवार को 10 और टेलीफोन एक्सचेंजों ने काम करना फिर से शुरू कर दिया। हालांकि, पहले बहाल 17 एक्सचेंज में से एक पर सेवाएं रोक दी गई हैं। अधिकारियों ने बताया कि प्रशासन को लैंडलाइन फोन का इस्तेमाल दुष्प्रचार अभियान में करने की जानकारी मिलने के बाद एक एक्सचेंज पर सेवाएं फिर से रोकी गई हैं। घाटी में मौजूद 50,000 टेलिफोन फिक्स्ड लाइन में 28,000 को चालू कर दिया गया है।